12 दिसंबर 1863 को नार्वे में जन्मे और जर्मनी में सक्रिय रहे एडवर्ड मुंख (Edvard Munch) को अधिकांश कलाकार अभिव्यंजनावाद का प्रारंभकर्ता मानते हैं।
अभिव्यंजनावाद का प्रथम चित्र
एडवर्ड मुंख की प्रसिद्ध पेंटिंग " चीख " ( The Scream) में पहली बार जर्मन अभिव्यंजनावादी कला के तत्व दिखायी देते हैं। और इस पेंटिंग को अभिव्यंजनावाद का प्रथम चित्र माना जाता हैं। इसलिए कला समीक्षको ने मुंख को अभिव्यंजनावादी कला का अग्रदूत माना हैं।
एडवर्ड मुंख के अभिव्यंजनावादी चित्रों में " बसंत ऋतु की शाम " उत्कृष्ट चित्र माना जाता हैं। इस पेंटिंग में वातावरण को भयानक रूप में दर्शाया गया हैं।
एडवर्ड मुंख की पेंटिंग्स में निराशा, दुख, व भयानकता, के भाव दिखाई देते हैं।
एडवर्ड मुंख के शब्द-
मुझे जो दिखाई दे रहा है उसे चित्रित नही करता , बल्कि मैं उसी को चित्रित करता हूं जो मैंने देखा।
23 जनवरी 1944 को एडवर्ड मुंख की मृत्यु हो गयी।
इनकी प्रमुख पेंटिंग्स-
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Love and pain ( Vampire) |
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The Scream |
●मृत्यु शैया
●मृत्यु
●Anxiety
●The dance of life
●the kiss
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