चित्रकार ए. रामचंद्रन: आज मना रहे हैं अपना 87वां जन्मदिवस,

 


अच्युतन रामचंद्रन नायर, जिन्हें ए. रामचंद्रन A. Ramachandran के नाम से जाना जाता है, एक भारतीय चित्रकार, मूर्तिकार, तथा भित्ति चित्रकार के रूप में जाने जाते हैं, इनका जन्म 29 अगस्त 1935 को केरल के अत्तिंगल (Attingal) में हुआ था।

इन्होंने 1957 में केरल विश्वविद्यालय से मलयालम साहित्य में M.A. उत्तीर्ण किया। 

1961 में कला भवन शांतिनिकेतन से रामकिंकर बैज और विनोद बिहारी मुखर्जी के सानिध्य में इन्होंने कला शिक्षा ली।

ए. रामचंद्रन 1965 में जामिया मिलिया इस्लामिया विश्वविद्यालय, नई दिल्ली में चित्रकला के प्रोफेसर तथा विभागाध्यक्ष भी थे।

इनकी एक प्रसिद्ध कृति श्रृंखला " ययाति" (1986) हैं। यह प्रसिद्ध कृति प्रमुख काव्य ग्रंथ महाभारत से संबंधित हैं। 

यह कृति  60 फिट लंबी म्यूरल पेंटिंग हैं, जिसके 12 पैनल हैं।इस पेंटिंग के केंद्र में 13 मूर्तिशिल्प भी हैं।

1975 में पोखरण (राजस्थान) परमाणु विस्फोट से आहत होकर इन्होंने "न्यूक्लियर रागिनी" नामक प्रसिद्ध चित्र श्रृंखला का निर्माण किया। 

2002 में, उन्हें ललित कला अकादमी का फेलो चुना गया और 2005 में, उन्हें राष्ट्र के लिए उत्कृष्ट सेवा के लिए भारत के तीसरे सर्वोच्च नागरिक सम्मान पद्म भूषण से भी सम्मानित किया गया।

वर्तमान में ए रामचंद्रन नई दिल्ली में अपनी चीनी पत्नी " तान युवान चमेली" के साथ रहते हैं। और साथ ही कला से जुड़े हुए हैं। 

29 अगस्त 2022 को इन्होंने 87 जन्मदिन मनाया। 

कमल सरोवर', 'ययाति', 'काली पूजा', 'यादवो का अंत' तथा 'उर्वशी' आदि इनकी प्रसिद्ध कलाकृतियाँ हैं।

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